एनआईए ने चार राज्यों में की छापेमारी,दो आरोपियों को किया गिरफ्तार,गिरफ्तार अरोपियों में एक राँची के धुर्वा का है रहने वाला…

राँची।राष्ट्रीय जांच एजेंसी (एनआईए) ने शुक्रवार को प्रतिबंधित पीपुल्स लिबरेशन फ्रंट ऑफ इंडिया (पीएलएफआई) के सुप्रीमो दिनेश गोप के सहयोगियों के कई ठिकानों पर छापेमारी की। एनआईए ने दो आरोपियों बिहार के रमन कुमार सोनू उर्फ सोनू पंडित और दिल्ली के दक्षिण-पश्चिम जिले के निवेश कुमार को गिरफ्तार किया है।बताया जाता है कि निवेश राँची के धुर्वा इलाके की रहने वाला है। आरोपियों के पास से हथियार, गोला-बारूद,आपत्तिजनक उपकरण, दस्तावेज, नकदी और भारतीय सेना की एक वर्दी भी जब्त की है। एनआईए को जानकारी मिली थी कि देश के अलग-अलग राज्यों में पीएलएफआई के नेताओं, कैडरों और समर्थकों की ओर से जबरन वसूली की जा रही है। इससे संबंधित मामले में एनआईए की ओर से एफआईआर दर्ज किया गया था। जिसमें दोनों आरोपियों के नाम शामिल है।

पिस्टल के साथ मिले तीन लाख

एनआईए की तलाशी के दौरान दो पिस्तौल, जिंदा कारतूस के अलावा 3 लाख रुपए नकद, डिजिटल डिवाइस और दस्तावेज, के साथ-साथ आपत्तिजनक सामग्री और सोने-चांदी के आभूषण जब्त किए गए हैं। जबरन वसूली के मामले में एनआईए की ओर से 11 अक्टूबर 2023 को एफआईआर दर्ज की गई थी। एनआईए की ओर से यह छापेमारी चार राज्यों में की गई। एनआईए ने जिन आरोपियों और संदिग्धों के खिलाफ कार्रवाई की है, वे सभी झारखण्ड में प्रतिबंधित आतंकवादी संगठन पीएलएफआई के कैडर और समर्थक थे। इन पर हिंसक वारदातों को अंजाम देने और आतंकी गतिविधियों को अंजाम देने की साजिश में शामिल होने का आरोप है।

कारोबारियों से वसूली जा रही थी लेवी

एनआईए की अब तक की जांच से पता चला है कि प्रतिबंधित संगठन के कैडर ने झारखण्ड, बिहार, छत्तीसगढ़ और ओडिशा में कोयला व्यापारियों, ट्रांसपोर्टरों, रेलवे ठेकेदारों और व्यापारियों से जबरन वसूली के माध्यम से धन जुटाने के काम करते थे। दोनों आरोपी सुरक्षाबलों पर हमला, हत्या, आगजनी और समाज में दहशत पैदा करने के लिए विस्फोटकों, आईईडी का उपयोग सहित आतंकवादी गतिविधियों को अंजाम देने की साजिश रच रहे थे।