स्पेशल सेल व एटीएस की जांच में खुलासा:वर्चुअल नंबर से राँची के होटवार जेल से मांग रहे है कुख्यात गिरोह के सदस्य बड़े कंपनियों के पदाधिकारियों, कारोबारियों व ठेकेदारों से रंगदारी,पुराने सिम का हो रहा इस्तेमाल

–कुख्यात अमन साहू, अमन सिंह, सुजीत सिन्हा सहित आठ पर नामजद और बिरसा मुंडा केंद्रीय कारा होटवार के संलिप्त काराकर्मियों पर खेलगांव थाना में थाना प्रभारी ने दर्ज कराई प्राथमिकी

राँची।बिरसा मुंडा केंद्रीय कारा होटवार के अंदर से कुख्यात अपराधी गिरोह के सदस्य विकास कार्य में लगे बड़े कंपनियों के पदाधिकारियों, कारोबारियों व ठेकेदारों से रंगदारी की मांग वर्चुअल व वाट्सएप नंबर के जरिए कर रहे है। इसका खुलासा स्पेशल सेल व एटीएस की जांच में हुआ है। रंगदारी मांगने में पुराने सिम का इस्तेमाल किया जा रहा है, जो या तो जेल में बंद किसी सजायाफ्ता कैदी के है या उन लोगो के है जो खो गए थे और उन लोगो ने उक्त सिम को बंद नहीं नहीं कराया। इस मामले में स्पेशल सेल और एटीएस के दिए गए सूचना के आधार पर खेलगांव थाना प्रभारी मनोज कुमार महतो ने एक मार्च को खेलगांव थाना में आठ पर नामजद व अन्य के विरुद्ध भादवि की धारा 385, 387, 419, 120बी, 507 और 42 प्रिजनर्स एक्ट के तहत प्राथमिकी दर्ज कराई है। जिनके विरुद्ध प्राथमिकी दर्ज कराई गई है उनमें कुख्यात अपराधी अमन साहू, अमन सिंह, सुजीत सिन्हा, शीतल महतो, हरिकिशोर प्रसाद उर्फ किशोर, सूरज सिंह, राजू सिंह, हरि तिवारी शामिल है। इसके अलावे जांच में पाए सभी मोबाइल नंबरों के धारकों जिनका प्रयोग जेल के अंदर से किया जा रहा है उनपर और केंद्रीय कारा होटवार के संलिप्त काराकर्मियों सहित अन्य के विरुद्ध प्राथमिकी दर्ज कराई गई है।

जांच में हुआ खुलासा इन नंबरों का हो रहा था जेल से इस्तेमाल

जेल से उपयोग होने वाले मोबाइल नंबरों का सत्यापन भी किया गया है। जिसमें कई बाते सामने आई है। मोबाइल नंबर 8235—923 का इस्तेमाल जेल से हो रहा था। उक्त मोबाइल धारक से पुलिस ने पूछताछ की तो पता चला कि ये नंबर उनका नहीं है। मोबाइल धारक ने बताया कि उनकी एक बहन है जिनके पति राजू सिंह जेल में है वे उक्त नंबर का इस्तेमाल करते है। मोबाइल नंबर 8797—517 के धारक रोहित वर्मा के बड़े भाई ने पूछताछ में बताया कि उनका भाई काफी नशा करता था। जो कभी घर नहीं आता था। वह अर्जुन वर्मा जो जेल में थे उनसे कई बार मिलने गया। हो सकता है उसी दौरान उसने अपना सिम उन्हें जेल में दे दिया होगा। मोबाइल नंबर 7879—322 के धारक ने पुलिस को पूछताछ में बताया कि उक्त नंबर का उपयोग उनका बेटा करता है। जो वर्ष 2020 में मारपीट मामले में बरियातू थाना से जेल गया था। जो अभी जेल में ही है। मोबाइल नंबर 9608—141 और 7481—351 के धारक ने बताया कि उनका बेटा सूरज सिंह है जो 2017 में 10 वर्ष के सजा में जेल गया था। विगत दो वर्ष से बेटे से संपर्क नहीं है लेकिन नंबर का इस्तेमाल बेटे द्वारा ही किया जाता था। 9748—835 के धारक ने पूछताछ में पुलिस को बताया कि उनके पति निशांत तिर्की जेल में है। मोबाइल नंबर 9031—379 के धारक द्वारा बताया गया कि उक्त नंबर उनका बेटा मनोज सिंह इस्तेमाल करता था, जो अभी अपनी पत्नी की हत्या के आरोप में तीन साल से जेल में बंद है। मोबाइल नंबर 90316–512 के धारक फराज शम्स ने पूछताछ में बताया कि वह जेल गया था, हाल ही में जेल से बाहर आया है। उक्त नंबर का गलत इस्तेमाल हो रहा था,जिसे उसने बंद अब करा दिया है।

इसके अलावे भी कई मोबाइल नंबर मिले जिनका इस्तेमाल हुआ उनके परिजन जेल में है

जांच में जिन अन्य लोगो को मोबाइल नंबर की बात सामने आई है उनके कोई ना कोई परिजन जेल में है। जो जेल में है उनमें हिंदपीढ़ी का नवील अख्तर, कांके का गुलजार हुसैन शामिल है। वहीं कुछ ऐसे भी मोबाइल नंबर सामने आए है जो है मोबाइल धारक ने उक्त नंबर अपने नाम से कभी लिया ही नहीं और उसका इस्तेमाल हो रहा है।

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