रामलला की पहली पूर्ण तस्वीर आई सामने:200 KG वजन,51 इंच ऊंचाई, भव्य ललाट और बड़ी-बड़ी आंखें, जानें रामलला की मूर्ति की 9 विशेषताएं…

 

मधुर मुस्कान, माथे पर तिलक… रामलला की पहली पूर्ण तस्वीर आई सामने

अयोध्या के राम मंदिर में रामलला की प्राण प्रतिष्ठा 22 जनवरी को होगी।प्रभु श्रीराम के दर्शन के लिए भक्तों को बेसब्री से इंतजार हैं।प्राण प्रतिष्ठा के कार्यक्रम से पहले रामलला की पहली भव्य तस्वीर सामने आ गई है।

हालांकि ये तस्वीर गर्भगृह में रामलला के विराजमान होने से पहले की है।तस्वीर में श्रीराम के चेहरे पर मधुर मुस्कान है और माथे पर तिलक है।22 जनवरी को अयोध्या के राम मंदिर में भगवान के विग्रह की प्राण प्रतिष्ठा (Ram Mandir Pran Pratishtha) होगी। राम भक्तों को इस घड़ी का बेसब्री से इंतजार है। इससे पहले श्री रामलला की मूर्ति (Ram Lala Idol) की पहली तस्वीर सामने आई है। भगवान राम की मूर्ति को गर्भ गृह में स्थापित कर दिया गया है। प्रभु श्रीराम की ये वही मूर्ति है, जिसकी प्राण प्रतिष्ठा प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी 22 जनवरी को करने वाले हैं।गुरुवार को इस मूर्ति को अयोध्या धाम के भव्य मंदिर के गर्भगृह में रखा गया और इसके साथ ही दुनिया के सामने इस मूर्ति की पहली झलक भी आ गई। आइए रामलला की मूर्ति की खासियत के बारे में जानते हैं।

रामलला की मूर्ति की 9 विशेषताएं?

-श्याम शिला की आयु हजारों साल, जल रोधी।

-चंदन, रोली लगाने से चमक प्रभावित नहीं होगी।

-पैर की अंगुली से ललाट तक की ऊंचाई 51 इंच।

-रामलला की मूर्ति का वजन करीब 200 किलो।

-मूर्ति के ऊपर मुकुट और आभामंडल मौजूद।

-श्रीराम की भुजाएं घुटनों तक लंबी।

-मस्तक सुंदर,आंखें बड़ी और ललाट भव्य।

-कमल दल पर खड़ी मुद्रा में मूर्ति, हाथ में तीर और धनुष।

-मूर्ति में पांच साल के बच्चे की बाल सुलभ कोमलता।

कैसी है रामलला की मूर्ति?

जरा देखिए कि खूबसूरती से श्याम शिला को मूर्त रूप दिया गया है. हालांकि, रामलला की मूर्ति की आंखें अभी ढकी हुई हैं।लेकिन श्याम शिला साफ झलक रही है।श्रीरामलला को विराजमान करने से पहले तमाम संस्कार और पूजन किए गए।काशी से आए विद्वानों ने कार्यक्रम को संपन्न कराया. 121 आचार्यों ने विधि विधान से पूजा-अर्चना की।रामलला की 200 किलो वजनी मूर्ति का जलाभिषेक किया गया और प्रभु श्री राम की मूर्ति को रखा गया।

अभिजीत मुहूर्त में होगी प्राण प्रतिष्ठा

जानकारी के मुताबिक, सबसे पहले रामलला को आईना दिखाया जाएगा और प्रभु श्रीराम सबसे पहले अपना मुखड़ा देखेंगे। जिस वक्त मूर्ति की पट्टी हटाई जाएगी। उस वक्त गर्भ गृह में प्रधानमंत्री समेत 5 लोग मौजूद रहेंगे। 22 जनवरी को दलपूजा के लिए आचार्यों की 3 टीम बनाई गई है। प्रधानमंत्री की मौजूदगी में अभिजीत मुहूर्त में रामलला की इस मूर्ति की प्राण प्रतिष्ठा होगी। 🛕