सरायकेला:इनामी नक्सली महाराज प्रमाणिक को भेजा जेल,कल पुलिस के समक्ष किया था आत्मसमर्पण

सरायकेला:झारखण्ड के हार्डकोर नक्सली महाराज प्रमाणिक को सरायकेला-खरसावां पुलिस ने कड़ी सुरक्षा की बीच शनिवार को जेल भेज दिया। दोपहर करीब तीन बजे उसे राँची से कड़ी सुरक्षा के बीच सरायकेला के सदर अस्पताल लाया गया,जहां स्वास्थ्य व कोरोना की जांच के बाद उसे न्यायालय में पेश किया गया। इसके बाद उसे जेल भेज दिया गया।बता दें कि कल शुक्रवार को 10 लाख के इनामी नक्सली प्रमाणिक ने राँची में पुलिस के समक्ष आधिकारिक तौर पर सरेंडर किया था। महाराज प्रमाणिक पर सरकार ने 10 लाख रुपये का इनाम रखा था। महाराज प्रमाणिक के खिलाफ झारखण्ड के सरायकेला-खरसावां, पश्चिमी सिंहभूम, खूंटी व राँची जिले में करीब 119 से अधिक मामले दर्ज हैं। इस इनामी नक्सली पर कई बड़ी नक्सली घटनाओं को अंजाम देने का भी आरोप है हार्डकोर नक्सली महाराज प्रमाणिक का करीब दस साल तक खरसावां, पश्चिमी सिंहभूम, खूंटी व राँची जिले में खौफ रहा है। मेडिकल जांच के दौरान पत्रकारों से रूबरू होते हुए कुख्यात नक्सली महाराज प्रमाणिक ने कहा कि भविष्य में वह जनता की सेवा करेगा।

आपको बता दें कि महाराज प्रमाणिक 2007-08 में चांडिल कॉलेज में बीएससी में पढ़ता था. चबूतरा निर्माण को लेकर गांव के कुछ लोगों ने इसे और इसकी माँ को मारने की सुपारी दी।अपराधियों ने घर पर धावा भी बोला था, पर माँ-बेटे बच गये। तब इसने एरिया कमांडर रामविलास लोहरा से मदद मांगी थी।बाद में यह सब-जोन कमांडर डेविड महतो के साथ भाकपा माओवादी में शामिल हो गया। इसके पास एनसीसी का बी सर्टिफिकेट भी था।

इधर माओवादी संगठन ने 15 अगस्त 2021 महाराज प्रमाणिक को गद्दार घोषित कर दिया था। उसे जन अदालत में सजा देने का फरमान जारी हुआ। संगठन ने विज्ञप्ति जारी कर कहा था कि जुलाई 2021 से पहले तीन बार इलाज के बहाने महाराज संगठन से बाहर गया और पुलिस के संपर्क में आया। 14 अगस्त को वह 40 लाख रुपये, एक एके-47, 150 से अधिक गोलियां और पिस्टल के साथ संगठन छोड़कर भागा था।