अजब थानेदार की गजब कहानी:काेयला लदे बाइक पार कराने को थानेदार कर रहे थे डिमांड,पैसा नहीं दिया ताे 6 युवकाें काे पकड़कर लाया था थाना,2 दिनाें तक रखने के बाद माेटी रकम लेकर 4 काे छाेड़ा, 2 ने पैसा नहीं दिया ताे भेजा जेल !
–काेयला पार कराने के लिए प्रति बाइक 20 रु से बढ़ाकर मांगते थे 50 रुपया, पैसा नहीं दिया तो की कार्रवाई।
–प्रतिदिन पिठाैरिया घाटी के रास्ते पार हाेता है काेयला लदा 50-60 बाइक, बिना चढ़ावा दिए नहीं जाती एक भी गाड़ी
राँची।काेयला लदे बाइक सवार काे घाटी से पार कराने के लिए पिठाैरिया थानेदार रवि शंकर पिछले कुछ दिनाें से लगातार पैसे की डिमांड कर रहे थे। पैसा नहीं देने पर जेल भेज देने की बात कहते थे। पैसा नहीं मिलने के बाद पुलिस ने 25 फरवरी की सुबह 6 युवकाें काे काेयला लदे बाइक के साथ पकड़ा। थाना में माेटी रकम लेने के बाद 4 युवकाें काे छाेड़ दिया गया जबकि 2 युवक काे जेल भेज दिया गया। उक्त बातें जेल भेजे गए युवकाें के परिजनाें ने मीडिया काे बताया है। जेल भेजे गए सुनील उरांव के पिता अघनु उरांव ने बताया कि राँची तक बाइक से काेयले का खेप पहुंचाने के लिए 6 थानाें की पुलिस काे पैसा देना पड़ता है। भुरकुंडा थाने के अलावा भदानीनगर, बासल, पतरातू, ओरमांझी और पिठौरिया थाना की पुलिस रास्ते में प्रत्येक काेयला लदे बाइक सवार से 20 रुपया लेती है। सभी काेयला लदे बाइक सवार पैसा भी देते हैं। पिछले कुछ दिनाें से पिठाैरिया थानेदार प्रति बाइक 50 रुपए की डिमांड कर रहे थे। ऐसे में इतना ज्यादा पैसा देना संभव नहीं था। इसी के बाद पुलिस ने 25 फरवरी काे उनके बेटे सहित 6 युवकाें काे काेयला लदे बाइक के साथ पकड़ ली। 4 युवक से माेटी रकम लेकर थाने से छाेड़ दिया। उनका बेटा सुनील और ज्ञानचंद प्रसाद ने पैसा देने में असमर्थता जताई ताे चाेरी की बाइक से काेयला तस्करी करने की बात कह प्राथमिकी दर्ज की और जेल भेज दिया।
थानेदार के कार्यशैली पर उठ रहा सवाल, 2 युवक के पास से कैसे बरामद हाे सकता है काेयला लदा 12 बाइक
पिठाैरिया थानेदार रविशंकर के कार्यशैली पर सवाल खड़ा हाे रहा है। थानेदार ने जाे ग्रामीण एसपी नाैशाद आलम काे जानकारी दी है उसके अनुसार काेयला लदे 12 बाइक काे बरामद किया गया है जबकि 2 युवकाें काे गिरफ्तार किया गया है जबकि अन्य सभी भागने में सफल रहे। गिरफ्तार कर जेल भेजे गए दाेनाें युवकाें काे पिठाैरिया पुलिस ने काेयला तस्कर बताया है। सामान्य ताैर पर प्रतिदिन सड़काें पर बाइक और साइकल से काेयला लेकर जाते हुए दर्जनाें युवक दिखाई देते हैं। ऐसे में लाेगाें के मन में सवाल उठ रहा है कि आखिर पिठाैरिया पुलिस ने सिर्फ इन 2 युवकाे काे ही गिरफ्तार कर क्याें जेल भेजी है।
दिव्यांग पिता का सहारा था बेटा, पिठाैरिया पुलिस ने तस्कर बताकर भेज दिया जेल
चाेरी की बाइक से काेयला तस्करी के आराेप में गिरफ्तार कर जेल भेजे गए सुनील उरांव के पिता अघनु उरांव पैर से दिव्यांग हैं। सुनील के परिवार में पिता के अलावा पत्नी उर्मिला देवी, बेटी रीना कुमारी, बहन सोनी कुमारी और छोट भाई अनिल उरांव है। पूरे परिवार की जिम्मेवारी सुनील पर ही है। सुनील बाइक से रांची में काेयला लाकर बेचता था और अपने परिवार का भरण-पाेषण करता था। अचानक उसे जेल चले जाने के बाद से परिवार के सामने बड़ी मुसिबत खड़ा हाे गया है। सुनील के अलावा जेल भेजा गया भुरकुंडा बाजार ठाकुरबाड़ी निवासी ज्ञानचंद प्रसाद के परिवार में बृद्व मां, पत्नी, 3 बेटी और एक बेटा है। ज्ञानचंद ही पूरा परिवार चला रहा था।
ग्रामीण एसपी काे भी थानेदार ने दी गलत जानकारी, बाइक चाेर गिराेह पकड़ाने का किया था दावा
पिठाैरिया थानेदार रविशंकर ने अपने एसपी नाैशाद आलम काे भी गलत जानकारी देते हुए बाइक चाेर गिराेह का भंडाफाेड़ करने का दावा किया था। ग्रामीण एसपी भी थानेदार के झांसे में आ गए थे और प्रेस कांफ्रेंस कर जानकारी देते हुए बताया था कि चाेरी की बाइक से अवैध काेयले की तस्करी की जा रही थी। प्रेस कांफ्रेंस में थानेदार रविशंकर भी माैजूद थे लेकिन वे जरा भी ग्रामीण एसपी काे एहसास नहीं हाेने दिए कि पैसे की डिमांड पूरा नहीं करने के बाद काेयले की ढूलाई करने वालाें के खिलाफ कार्रवाई की गई है।
काेयला लदे बाइक काे पिठाैरिया इलाके से पार कराने के लिए अगर थानेदार ने पैसे का डिमांड किया था ताे यह गलत है। जेल भेजे गए 2 युवकाें के परिजनाें ने जब इस तरह की बात कही है ताे काफी गंभीर है। इंस्पेक्टर से मामले की जांच कराई जाएगी। पिठाैरिया थानेदार रविशंकर अगर जांच में दाेषी पाए जाते हैं ताे उनके खिलाफ कठाेर कार्रवाई की जाएगी।–नाैशाद आलम, ग्रामीण एसपी
साभार:दैनिक भाष्कर