साहिबगंज:ईडी के गवाह अशोक यादव को हाईकोर्ट के आदेश के बाद जेल से रिहा कर दिया…
साहिबगंज।झारखण्ड में अवैध खनन मामले ईडी के गवाह अशोक यादव को झारखण्ड हाईकोर्ट के आदेश पर जिला प्रशासन ने शुक्रवार की देर शाम को रिहा कर दिया है।हाइकोर्ट ने माना है कि अशोक यादव पर लगा सीसीए ( क्राइम कंट्रोल एक्ट) गलत है और उन्हें बेवजह परेशान किया जा रहा है। अशोक यादव मुफस्सिल थाना क्षेत्र के सकरीगली का रहने वाला है। मुख्यमंत्री के विधायक प्रतिनिधि पंकज मिश्रा के जेल जाने के के बाद अशोक यादव अवैध खनन व परिवहन मामले में ईडी का गवाह बना था। 29 जुलाई 2022 को पत्थर व्यवसायी व ईडी के गवाह जय प्रकाश यादव उर्फ मुंगेरी यादव की गिरफ्तारी राँची एयरपोर्ट से हुई थी।दूसरे दिन राजमहल कोर्ट में मुंगेरी यादव से पेशी के दौरान अशोक यादव मिलने गया था,उसी समय साहिबगंज पुलिस ने गिरफ्तार किया था।दोनों को साहिबगंज मंडलकारा में बंद कर जिला प्रशासन की पहल पर सीसीए लगा था।जिसे हाईकोर्ट ने शुक्रवार को हर हालत में छोड़ने का आदेश जारी किया था।
वहीं रिहा होने के बाद अशोक यादव ने कहा कि जिला प्रशासन और राज्य सरकार कानून का उल्लंघन कर मेरे ऊपर सीसीए लगाया है।अवैध खनन मामले में ईडी का गवाह बनने के कारण सीसीए की सजा मिली है।अशोक कहा कि कोर्ट की शरण लिया और मुझे रिहा कर दिया गया और हाई कोर्ट ने भी माना कि सीसीए एक्ट नहीं लगाना चाहिए था।
ईडी के पहले और अहम गवाह मुंगेरी यादव को सुप्रीम कोर्ट के आदेश पर सोमवार को जिला प्रशासन ने जेल से रिहा किया था। ईडी के गवाह और पत्थर कारोबारी प्रकाश चंद्र यादव उर्फ मुंगेरी यादव को 29 जुलाई 2022 को साहिबगंज पुलिस ने आर्म्स एक्ट के आरोप में राँची एयरपोर्ट के पास से गिरफ्तार कर न्यायिक हिरासत में मंडल कारा भेज दिया था।इसके बाद उनके ऊपर पहले तीन महीने फिर बाद में तीन व छह महीने का सीसीए लगाया गया था।
ईडी का तीसरा गवाह विजय हांसदा जेल में बंद है।जिसने सीएम के विधायक प्रतिनिधि पंकज मिश्रा सहित दबंगों पर केस किया था।आरोप लगाया गया था कि उसे जान से मारने की धमकी दी जा रही है।धीरे-धीरे सभी गवाह कोर्ट की शरण लेकर बाहर निकल रहे है।आने वाले समय में ईडी दोनों को राँची जोनल आफिस बुला सकती है। साहिबगंज में 1000 से अधिक अवैध मनी लॉन्ड्रिंग व परिवहन मामले में अहम रोल निभा सकते हैं। ये गवाह पंकज मिश्रा के गले का फांस बन सकते हैं।