झोलाछाप डॉक्टर से इलाज कराना पड़ा महंगा, गलत इलाज से बालक की मौत ! मामले की जांच की जा रही…

 

लातेहार।झारखण्ड के लातेहार जिले में झोलाछाप डॉक्टर में चक्कर में एक बच्चे की मौत हो गई। जानकारी के अनुसार दो दिन पहले लातेहार जिले के हेरहंज प्रखंड मुख्यालय निवासी मुन्नीलाल भुइयां का दो वर्षीय बच्चा खेलने के दौरान गिर गया था। परिजनों का कहना है कि गिरने के कारण बालक का जीभ कट गया था और खून बह रहा था।इसके बाद परिजन बच्चे को लेकर एक ग्रामीण चिकित्सक अरुण यादव के पास पहुंचे।मृतक बच्चे की मां ने बताया कि अरुण यादव ने बच्चे को कोई इंजेक्शन दिया और कहा कि ठीक हो जाएगा, लेकिन देर रात तक बच्चे के जीभ से खून निकलना बंद नहीं हुआ।दोबारा जब रात में अरुण यादव के पास गए तो वह घर में नहीं था।अरुण यादव की पत्नी ने अरुण से फोन पर बात की और बच्चे की स्थिति की जानकारी दी।जिस पर अरुण यादव ने कहा कि बच्चा ठीक हो जाएगा, उसे घर जाने के लिए कह दोमघर जाने के बाद बच्चे की स्थिति काफी बिगड़ गई और उसकी मौत हो गई। मृतक बच्चे की मां का आरोप है कि झोलाछाप अरुण यादव के आश्वासन के कारण ही वे लोग अपने बच्चे का सही इलाज नहीं करवा सके।इधर, बालक की मौत के बाद स्वास्थ्य विभाग हरकत में आ गया।सिविल सर्जन ने मामले की जांच के लिए एक टीम गठित की है।वहीं मृत बालक के शव के पोस्टमार्टम के लिए तीन सदस्यीय डॉक्टरों की मेडिकल टीम गठित की गई है।इस संबंध में सिविल सर्जन डॉक्टर अवधेश सिंह ने बताया कि मामले की जांच चल रही है।पोस्टमार्टम के लिए तीन सदस्यीय चिकित्सकों की टीम भी गठित की गई है।पोस्टमार्टम रिपोर्ट आने के बाद पूरा मामला स्पष्ट हो पाएगा।मृतक के परिजनों ने पूरे मामले की जानकारी स्थानीय पुलिस को भी दे दी है।घटना की जानकारी मिलने के बाद पुलिस बल घटना स्थल पर पहुंचकर मामले की छानबीन आरंभ कर दी है।

ग्रामीण क्षेत्र में सक्रिय हैं झोलाछाप डॉक्टर

लातेहार जिले के विभिन्न प्रखंडों में झोलाछाप डॉक्टर सक्रिय हैं, जो अवैध रूप से मेडिकल प्रैक्टिस कर रहे हैं।सूत्रों की माने तो कई ऐसी दवा दुकान भी संचालित हैं जिन्हें लाइसेंस तो फर्स्ट एड की दवा के लिए मिला है,लेकिन अवैध रूप से धड़ल्ले से दवा दुकान संचालित की जा रही है। यदि इस मामले की उच्चस्तरीय जांच हो जाए तो एक बड़ा खुलासा हो सकता है।