लोहरदगा:मुठभेड़ में मारा गया नक्सली बालक गंझू नहीं,परिजनों ने शव पहचानने से किया इनकार
लोहरदगा।झारखण्ड के लोहरदगा में सुरक्षाबलों के साथ मुठभेड़ में मारा गया नक्सली बालक गंझू नहीं था। घटना के 48 घंटे बाद शव की पहचान करने पोस्टमार्टम हाउस पहुंचे बालक गंझू के परिजनों ने शव की पहचानने से इनकार कर दिया। शव की पहचान के लिए बालक गंझू का भाई रामू गंझू और फूलदेव गंझू अस्पताल आए हुए थे। इसके बाद पुलिस ने भाकपा माओवादी के हार्डकोर नक्सली दिनेश नगेशिया के परिजनों को सदर अस्पताल बुलाया। पिता रामनाथ नगेशिया, बहन मनोरमा नगेशिया, मनोरमा के पति पुष्कर नगेशिया, बहन फगन नगेशिया और सुमति नगेशिया ने भी शव की पहचान नहीं की है। 16 फरवरी को हुए मुठभेड़ के 48 घंटे गुजर चुके है। इस बीच पेशरार थाना क्षेत्र में सुरक्षा बलों का सर्च अभियान जारी है। शुक्रवार को फिर एक बार माओवादियों और सुरक्षाबलों के बीच मुठभेड़ हुई। दावा किया जा रहा है कि लावापानी इलाके दोनों तरफ से गोलीबारी हुई है।
मुठभेड़ की घटना के बाद सुरक्षाबलों द्वारा सतर्कता के साथ पूरे इलाके में सर्च ऑपरेशन चलाया जा रहा है। सुरक्षा बलों ने एक इंसास राइफल बरामद किया है। सूत्रों की माने मुठभेड़ में कुछ नक्सलियों के घायल होने की आशंका हैं। हालांकि अब तक इसकी अधिकारिक पुष्टि नहीं हुई है। ज्ञात हो कि गत 8 फरवरी से नक्सलियों के खिलाफ अभियान चल रहा है। अब तक 8 बार सुरक्षा बलों व नक्सलियों के बीच मुठभेड़ हो चुकी है।
अब मुठभेड़ में मरने वाले शव की पहचान को लेकर सस्पेंस बरकरार है। नक्सली का शव बरामद हुए 48 घंटे से ज्यादा समय हो चुके हैं। इसके बावजूद अब तक लाश की पहचान नहीं हो सकी है। पुलिस की ओर से लगातार अलग-अलग नक्सलियों के परिजनों को बुलाकर शव की पहचान कराने का प्रयास किया जा रहा है। अब तक इसमें कामयाबी नहीं मिली है। सदर अस्पताल में भारी संख्या में सुरक्षा बल तैनात हैं। अस्पताल में प्रशासनिक और पुलिस अधिकारियों का जमावड़ा लगा हुआ है।ज्ञात हो कि मुठभेड़ में मरने वाले नक्सली के पास से एक लाख रुपये बरामद हुए थे। इसके अलावा हथियार, गोलियां, डायरी, पोस्टर, टोपी, लोअर सहित कई दैनिक उपयोग के सामान मिले थे।