चतरा पुलिस ने चर्चित टेरर फंडिंग मामले में एनआईए के गवाह की हत्या करने वाले तीन आरोपी को किया गिरफ्तार…

 

चतरा।झारखण्ड के चतरा जिले के टंडवा थाना क्षेत्र के लंबुवा गांव निवासी, समाजसेवी और चर्चित टेरर फंडिंग मामले में एनआईए के गवाह विष्णु साव उर्फ भुवनेश्वर साव की अपहरण के बाद गला रेत कर हत्या कर दी गयी थी।ये घटना बीते दो फरवरी को हुई थी।मामले की गंभीरता को देखते हुए एसपी विकास पांडे के निर्देश पर गठित एसआईटी की टीम ने कार्रवाई करते हुए इस घटना में शामिल तीन अपराधियों को गिरफ्तार किया है।इनमें रोहित कुमार साहू, राजू पासवान और दीपक कुमार शामिल है।सभी अपराधियों को गिरफ्तार करने में टंडवा एसडीपीओ,सिमरिया एसडीपीओ के अलावा टंडवा थाना प्रभारी, पिपरवार और सिमरिया थाना प्रभारी समेत अन्य पुलिस कर्मियों की भूमिका अहम रही।शनिवार को एसपी ने प्रेस कॉन्फ्रेंस कर इसकी जानकारी दी।एसपी ने बताया कि इस हत्याकांड का मास्टरमाइंड रोहित साहू था। बताया जा रहा है कि भुनेश्वर साव और रोहित साहू के बीच कुछ मामले को लेकर पूर्व से विवाद चल आ रहा था। इसी विवाद का बदला लेने के लिए रोहित ने अपने अन्य सहयोगियों के साथ मिलकर इस घटना की साजिश रची।आरोपियों ने पुलिस को गुमराह करने के लिए एक प्लान के तहत यह दिखाने की कोशिश की कि यह घटना को अंजाम नक्सलियों के ने दिया है। इसके लिए घटनास्थल पर सभी आरोपी नक्सली वर्दी पहन कर गये थे और साथ में नकली राइफल लेकर गये थे।बताया कि जब भुवनेश्वर साव सुबह अपनी माँ के साथ मवेशी लेकर जंगल जा रहा था। इसी दौरान पहले से घात लगाए हथियारबंद नकाबपोश अपराधियों ने उसका अपहरण कर लिया और पहाड़ की तरफ ले गये।इसके बाद परिजनों ने घटना की सूचना पुलिस को दी। सूचना मिलते ही टंडवा थाना की टीम ने इलाके में सर्च अभियान शुरू किया।सर्च के दौरान पुलिस ने पहाड़ की झाड़ी से भुवनेश्वर का शव बरामद किया। हत्यारे शव को टंडवा-बालूमाथ सीमा के जंगल में फेंक कर मौके से फरार हो गये थे।

 

दरअसल बिष्णु साव की हत्या का मास्टरमाइंड रोहित साव है। जिसने हत्याकांड की पूरी साजिश रची थी।रोहित पिछले दो-तीन सालों से राँची में रहकर ऑटो चलाता है।पुलिस की पूछताछ के दौरान रोहित ने हत्याकांड की पूरी कहानी बताई है।रोहित के अनुसार उसका एक भाई बिहारी साव दुष्कर्म के मामले में जेल में बंद है।जिस पर रोहित का मानना था कि विशुन साव ने ही उसके भाई को गलत तरीके से फंसाकर जेल भिजवाया है। साथ ही जंगल से लकड़ी काटने के मामले में विशुन साव के द्वारा रोहित को भी परेशान किया गया था।जिससे आहत होकर रोहित ने विशुन साव की हत्या की पूरी साजिश रची।

विशुन की हत्या से एक सप्ताह पूर्व हत्या का मास्टरमाइंड रोहित रांची से अपने घर आया था।जिसके बाद अपने सहयोगियों के साथ मिलकर विशुन की हत्या की साजिश रची।फिर विशुन साव के जंगल आने-जाने की रेकी की। इसी बीच 2 फरवरी को जैसे ही विशुन साव अपनी मां के साथ मवेशियों को छोड़ने जंगल की ओर निकला इसी बीच रोहित ने अपने सहयोगियों के साथ उग्रवादियों का भेष बनाकर एवं नकली पिस्टल का धौंस दिखाकर पहले मां को पेड़ से बांध दिया फिर विशुन साव का अपहरण कर जंगल के पहाड़ियों के बीच ले गये जहां टांगी से काटकर हत्या की घटना को अंजाम दिया।

 

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